दिल की अभिव्यक्ति

दिल की अभिव्यक्ति
दिल की अभिव्यक्ति

Thursday, September 15, 2016

तेरे हाथों में जब मेंहदी
हमारे नाम की रच जाये
तेरी सुंदरता बढ़ जाये
हमारा नाम हो जाये
♒♒♒♒♒♒
खामोश ज़ुबां,हो दिल में समर्पण 
और आँख में आंसू आ जाये
तब जा कर ये बने बन्दगी 
और इब़ादत कहलाये
ये तीनों जब मिलें एक संग
तेरा तार ख़ुदा से जुड़ जाये
तब तू उसका हो वो तेरा हो
और इब़ादत कहलाये
ऋषि राज शंकर "मुफ़लिस"
12/09/2016प्रातः5 बजे  
♒♒♒♒♒♒♒♒

No comments:

Post a Comment